देश के पूर्व प्रधानमंत्री Dr. Manmohan Singh का निधन हो गया। वे 92 वर्ष के थे। मनमोहन सिंह को गुरुवार शाम बेहोश होने के बाद दिल्ली AIIMS में भर्ती कराया गया था, जहां रात 9.51 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें श्रद्धांजलि दी है। डॉ. मनमोहन सिंह के सम्मान में 7 दिनों के राष्ट्रीय शोक की घोषणा की है। वे देश के पूर्व प्रधानमंत्री रहे हैं, उनका अंतिम संस्कार पूरे राजकीय सम्मान के साथ किया जाएगा। सूत्रों के अनुसार, डॉ. मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार शनिवार, 28 दिसंबर, को किया जाएगा।
Dr. Manmohan Singh Death Time
मनमोहन सिंह का 92 वर्ष की आयु में गुरुवार 27 दिसंबर 2024 को निधन हो गया। उन्हें गुरुवार शाम को अचानक बेहोशी की हालत में दिल्ली के AIIMS अस्पताल में भर्ती कराया गया था। अस्पताल में भर्ती होने के बाद उनकी हालत गंभीर हो गई थी, और इलाज के दौरान चिकित्सकों ने उन्हें बचाने की पूरी कोशिश की। हालांकि, रात 9.51 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। डॉ. मनमोहन सिंह भारतीय राजनीति के एक प्रमुख नेता थे, जो भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस पार्टी से जुड़े रहे। वे भारत के 14वें प्रधानमंत्री के रूप में कार्य कर चुके थे।
Manmohan Singh
मनमोहन सिंह, भारतीय राजनीति के एक प्रमुख और सम्मानित व्यक्ति थे। उनका नाम भारतीय अर्थव्यवस्था को नई ऊंचाइयों तक ले जाने के लिए इतिहास में अमर हो गया है। वे एक अद्वितीय अर्थशास्त्री, एक कुशल राजनेता, और एक विनम्र व्यक्ति के रूप में जाने जाते थे।
Dr. Manmohan Singh Ka Janm Sthan
मनमोहन सिंह का जन्म 26 सितंबर 1932 को गाह नामक गांव में हुआ था, जो आज वर्तमान मे पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में स्थित है। वे एक साधारण सिख परिवार से आते थे। भारत के विभाजन के समय उनका परिवार भारत आ गया।
Dr. Manmohan Singh ki Education
उन्होंने अपनी प्रारंभिक शिक्षा पंजाब विश्वविद्यालय (चंडीगढ़) से पूरी की। इसके बाद, उन्होंने केम्ब्रिज विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में स्नातक (B.A.) किया। फिर ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के नफील्ड कॉलेज से उन्होंने डॉक्टरेट (D.Phil) की उपाधि प्राप्त की।
India Republic day Shayari In Hindi
Dr. Manmohan Singh’s political journey
मनमोहन सिंह ने अपने करियर की शुरुआत एक शिक्षक के रूप में की। बाद में, उन्होंने संयुक्त राष्ट्र और अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) जैसे प्रतिष्ठित संस्थानों में काम किया। भारत लौटने के बाद, वे भारतीय रिजर्व बैंक और योजना आयोग के प्रमुख पदों पर आसीन हुए।
साल 1991 में मनमोहन सिंह को भारत सरकार मे वित्त मंत्री नियुक्त किया। उन्होंने विदेशी निवेश को बढ़ावा देने के लिए नई आर्थिक नीतियां लागू कीं। उन्होंने उदारीकरण, निजीकरण और वैश्वीकरण (LPG) की नींव रखी। उनके सुधारों ने भारत को आर्थिक संकट से बाहर निकाला और देश को एक नई दिशा दी।
Contribution of Manmohan Singh as Prime Minister of India
डॉ. मनमोहन सिंह ने 2004 से 2014 तक भारत के प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया। उनके कार्यकाल में देश ने सामाजिक, आर्थिक और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कई महत्वपूर्ण उपलब्धियां हासिल कीं। उनके नेतृत्व में भारत मे विदेशी निवेश (FDI) को प्रोत्साहित किया,
जिससे भारतीय बाजारों में विदेशी कंपनियों का निवेश बढ़ा। डॉ. मनमोहन सिंह का प्रधानमंत्री के रूप में कार्यकाल आर्थिक विकास, सामाजिक कल्याण योगदान रहा। उनकी नीतियों ने न केवल देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत किया, बल्कि उनकी सादगी, दूरदर्शिता, और समर्पण ने उन्हें एक आदर्श नेता के रूप में स्थापित किया।
Dr. Manmohan Singh biography
विवरण | जानकारी |
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पूरा नाम | मनमोहन सिंह |
जन्म तिथि | 26 सितंबर 1932 (उम्र 92 वर्ष) |
जन्म स्थान | गांव गाह (पश्चिम पंजाब, अब पाकिस्तान) |
पार्टी का नाम | भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस |
शिक्षा | अर्थशास्त्र और शिक्षाविद |
व्यवसाय | सिविल सेवक, अर्थशास्त्री, राजनीतिक और सामाजिक कार्यकर्ता, शिक्षक |
पिता का नाम | गुरमुख सिंह |
माता का नाम | अमृत कौर |
जीवनसाथी का नाम | गुरशरण कौर |
जीवनसाथी का व्यवसाय | गृहिणी |
संतान | 3 पुत्रियां |
धर्म | सिख धर्म |
मनमोहन सिंह का निधन | गुरुवार 26 दिसंबर 2024, 9:51 PM |
Dr. Manmohan Singh का राजनीतिक जीवन:
2018: मनमोहन सिंह एक बार फिर भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के सांसद के रूप में राज्यसभा पहुंचे।
2013: उन्हें पांचवीं बार राज्यसभा के लिए चुना गया।
2007: चौथे कार्यकाल के लिए भी उन्हें राज्यसभा में पुनः चुना गया।
2004: 2004 में यूपीए को लोकसभा में पूर्ण बहुमत प्राप्त हुआ, जिसके बाद कांग्रेस संसदीय दल ने उन्हें प्रधानमंत्री के रूप में चुना। उन्होंने 2004 से 2014 तक प्रधानमंत्री के रूप में दो कार्यकाल पूरे किए।
2001: उन्हें तीसरे कार्यकाल के लिए राज्यसभा के लिए फिर से चुना गया।
1999: 13वें लोकसभा चुनाव में वे दक्षिण दिल्ली से भाजपा के विजय कुमार मल्होत्रा से हार गए।
1998: वे वित्त संबंधी समिति के सदस्य रहे।
1998: राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष बने।
1996: वित्त मंत्रालय की सलाहकार समिति के सदस्य रहे।
1995: उन्हें राज्यसभा के लिए दूसरे कार्यकाल के लिए फिर से चुना गया।
1991: वे अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के बोर्ड ऑफ गवर्नर्स और पुनर्निर्माण और विकास के लिए अंतर्राष्ट्रीय बैंक के लिए भारत के राज्यपाल बने।
1991: केंद्रीय वित्त मंत्री के रूप में कार्य किया और बाद में राज्यसभा के लिए चुने गए।
1990: वे भारत के प्रधानमंत्री के आर्थिक सलाहकार बने।
1987: वे दक्षिण आयोग, जिनेवा के महासचिव और आयुक्त बने।
1985: उन्होंने योजना आयोग के उपाध्यक्ष के रूप में कार्य किया।
1985: भारतीय आर्थिक संघ के अध्यक्ष बने।
1983: वे प्रधानमंत्री के आर्थिक सलाहकार परिषद के सदस्य रहे।
1982: भारत के वैकल्पिक गवर्नर के रूप में आईएमएफ के बोर्ड ऑफ गवर्नर्स में कार्य किया।
1982: भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर के रूप में कार्य किया।
1980: भारत-जापान संयुक्त अध्ययन समिति के भारत समिति के अध्यक्ष बने।
1980: योजना आयोग के सदस्य-सचिव रहे।
1976: वे वित्त मंत्रालय (आर्थिक मामलों का विभाग) के सचिव बने और साथ ही वित्त और परमाणु ऊर्जा आयोग के सदस्य भी रहे।
1972: वे वित्त मंत्रालय में मुख्य आर्थिक सलाहकार के रूप में कार्यरत थे।
1971: वे विदेश व्यापार मंत्रालय में आर्थिक सलाहकार के रूप में कार्य करते थे।
Dr. Manmohan Singh का राजनीतिक जीवन भारत के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण और प्रेरणादायक रहा, जिसमें उन्होंने अर्थव्यवस्था और विकास के कई महत्वपूर्ण निर्णयों को लागू किया।